NDA Result 2023: पिता यूपी पुलिस में हेड कांस्टेबल…बेटा बना एयरफोर्स ऑफिसर, दादा का सपना हुआ पूरा


NDA Result 2023:जिले के देवेंद्र नगर निवासी ऋषभ चौधरी ने एनडीए की परीक्षा पास कर अपने पूरे परिवार का नाम रोशन किया है। बेटे की कामयाबी देख पिता की आंखों में आंसू भर आए। ऋषभ के परिवार में माता-पिता और बड़ी बहन रिया हैं। ऋषभ के पिता प्रवीण कुमार सहारनपुर में यूपी पुलिस में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं।
NDA Result 2023:जिले के देवेंद्र नगर निवासी ऋषभ चौधरी ने एनडीए की परीक्षा पास कर अपने पूरे परिवार का नाम रोशन किया है। बेटे की कामयाबी देख पिता की आंखों में आंसू भर आए। ऋषभ के परिवार में माता-पिता और बड़ी बहन रिया हैं। ऋषभ के पिता प्रवीण कुमार सहारनपुर में यूपी पुलिस में हेड कांस्टेबल के पद पर तैनात हैं। ऋषभ ने जिले के आशा मॉडर्न स्कूल से 2020 में हाईस्कूल 90 प्रतिशत अंक और इंटरमीडिएट 2022 में 87 प्रतिशत अंक से पास किया है।
इसके बाद एनडीए परीक्षा की तैयारी शुरू करते हुए ऋषभ ने दिल्ली में कोचिंग की। घर में स्वाध्याय करते हुए उन्होंने यूट्यूब, सोशल मीडिया और समाचार पत्रों के माध्यम से भी पढ़ाई की। एनडीए परीक्षा में सफलता के लिए दिल्ली कोचिंग ने ऋषभ चौधरी को सम्मानित भी किया। 18 साल के ऋषभ अपनी सफलता का श्रेय अपनी बहन रिया को देते हैं। उनकी बहन रिया पीसीएस-जे की तैयारी कर रही हैं। परीक्षा पास करने के लिए ऋषभ अपनी बहन से नए फॉर्मूले लेता है।
पोते ने पूरी की दादा की ख्वाहिश
ऋषभ ने कहा कि उनके दादा शीश पाल सिंह चाहते थे कि उनका बेटा प्रवीण सेना में भर्ती होकर देश की सेवा करे, लेकिन प्रवीण का चयन यूपी पुलिस में हो गया। ऋषभ ने सांस की बीमारी से पीड़ित शिशुपाल सिंह की इस इच्छा को पूरा किया और 5 जनवरी 2023 को ऋषभ अपनी मां सुमन के साथ वायु सेना चयन बोर्ड, मैसूर (कर्नाटक) में एक साक्षात्कार के लिए गया। एक सप्ताह के लंबे साक्षात्कार के बाद ऋषभ का चयन किया गया। अप्रैल में फाइनल रिजल्ट घोषित हुआ, जिसके बाद परिवार में खुशी का माहौल छा गया।
बेटे की सफलता पर पिता के आंसू छलक पड़े
ऋषभ जब वायुसेना में अफसर बने तो उनके पिता प्रवीण कुमार के खुशी के आंसू छलक पड़े। पिता ने कहा कि उन्हें अपने बेटे की सफलता पर गर्व है। प्रवीण कुमार पिता को याद कर भावुक हो गए। उन्होंने कहा कि मेरे पिता की इच्छा थी कि मैं सेना में भर्ती होकर देश की सेवा करूं। मैं अपने पिता की इच्छा और सपने को पूरा नहीं कर सका, लेकिन ऋषभ ने मेरे दादा के सपने को पूरा किया।